पेवर ब्लॉक से बदलेगी गया पुल की तकदीर, ट्रैफिक जाम पर भी असर
धनबाद में गया पुल (Gaya Bridge) और इसके अंडरपास की वर्तमान स्थिति (13 अगस्त 2025 तक) गंभीर समस्याओं से जूझ रही है, विशेष रूप से सड़क की जर्जर हालत, जलजमाव, और ट्रैफिक जाम के कारण बन रही है।
वर्तमान स्थिति (Current Status)
सड़क की जर्जर हालत : गया पुल अंडरपास की सड़क पर बड़े-बड़े गड्ढे और जलजमाव की समस्या है, जिसके कारण वाहन चालकों और स्थानीय लोगों को भारी परेशानी हो रही है। यह सड़क धनबाद की “लाइफलाइन” मानी जाती है, लेकिन इसकी खराब स्थिति से दैनिक जीवन और कारोबार प्रभावित हो रहे हैं

बारिश के मौसम में गड्ढों में पानी भर जाता है, जिससे दोपहिया वाहन चालकों को फिसलने का खतरा और कपड़ों के गंदे होने की समस्या हो रही है। कितने लोग तो गिर चुके हैं और अभी एक टोटो भी पलटी मार दिया था। और एक दिन एक आदमी बस के नीचे आते आते बचा।
ट्रैफिक जाम : गया पुल पर हर 10-30 मिनट में भीषण जाम लग रहा है, खासकर ऑफिस के समय में। इससे स्कूली बच्चे, मरीजों को ले जा रही एंबुलेंस, और आम लोग घंटों फंस रहे हैं।
श्रमिक चौक से बैंक मोड़ तक का क्षेत्र विशेष रूप से प्रभावित है, और लोग वैकल्पिक रास्तों (जैसे बरमसिया) का उपयोग कर रहे हैं, लेकिन वहाँ भी जाम की स्थिति बन रही है।
जलजमाव और नाले की समस्या : अंडरपास के पास नाले और नालियों से रिसाव के कारण सड़क बार-बार क्षतिग्रस्त हो रही है। नालियों की सफाई न होने से पानी सड़क पर जमा हो रहा है।
उपायुक्त (DC) ने सुपर सक्शन मशीन से नालों की सफाई शुरू कराई है, लेकिन यह स्थायी समाधान नहीं है।
हाल के प्रशासनिक प्रयास
उपायुक्त का निरीक्षण (8 अगस्त 2025) : उपायुक्त आदित्य रंजन ने गया पुल अंडरपास का निरीक्षण किया और सड़क की बदहाल स्थिति पर अधिकारियों को फटकार लगाई।
उन्होंने तत्काल आयरन प्लेट बिछाने, सड़क को समतल करने, और हाई-स्ट्रेंथ हेक्सागोनल पेवर ब्लॉक लगाने के निर्देश दिए। नालों की सफाई के लिए सुपर सक्शन मशीन का उपयोग शुरू किया गया है।
सांसद का श्रमदान
बीजेपी सांसद ढुलू महतो ने 9 अगस्त 2025 को स्थानीय लोगों के साथ मिलकर निजी खर्च पर अंडरपास के गड्ढों को भरने का काम शुरू किया।
हालांकि, इसके बावजूद सड़क की स्थिति बदहाल बनी हुई है, क्योंकि नालियों का पानी और बारिश सड़क को बार-बार खराब कर रहा है।
पेवर ब्लॉक की मदद से मरम्मत

- सांसद के श्रमदान और DC के निरीक्षण के बाद भी सड़क की स्थिति में कोई बड़ा सुधार नहीं किया था।
- पथ निर्माण विभाग ने गया पुल अंडरपास पर पेवर ब्लॉक बिछाने का काम शुरू किया है। यह सड़क को मजबूत करने और जलजमाव को कम करने के लिए किया जा रहा है।
- उपायुक्त ने हाई-स्ट्रेंथ हेक्सागोनल ब्लॉक की टेस्टिंग के बाद इन्हें लगाने का आदेश दिया है ताकि पानी में खराब न हों।
अतिक्रमण : श्रमिक चौक पर अतिक्रमण के कारण ट्रैफिक व्यवस्था और बिगड़ रही है। उपायुक्त ने इसे हटाने और ऑटो पार्किंग के लिए जगह निर्धारित करने के निर्देश दिए हैं।
नए अंडरपास का निर्माण रुका हुआ : गया पुल के चौड़ीकरण और नए अंडरपास की योजना पिछले तीन वर्षों से अटकी हुई है। शीला कंस्ट्रक्शन कंपनी ने 20% अधिक रेट का टेंडर दिया है, जिसके लिए कैबिनेट की मंजूरी का इंतज़ार है।
नए अंडरपास की योजना : नया अंडरपास 12.5 मीटर चौड़ा और 40 मीटर लंबा होगा, जिसमें 7.5 मीटर चौड़ा टू-लेन रोड, 1.5 मीटर फुटपाथ, और 1.1 मीटर ऊँची रेलिंग होगी।
लागत : कुल लागत 30.50 करोड़ रुपये है, जिसमें 24.76 करोड़ सिविल वर्क और 6 करोड़ रेलवे को जमीन अधिग्रहण के लिए दिए जाएँगे।
स्थानीय लोग गया पुल की स्थिति से नाराज़ हैं। कई पोस्ट में प्रशासन की “चुप्पी” और बार-बार की घोषणाओं के बावजूद कोई ठोस समाधान न होने की शिकायत की गई है। एक यूज़र ने इसे “धनबाद की जीवन रेखा” बताया, जो अब “जर्जर हालत में आंसू बहा रही है।”
– लोग नेताओं और प्रशासन पर इस गंभीर समस्या को नजरअंदाज करने का आरोप लगा रहे हैं
पेवर ब्लॉक की प्रभावशीलता : गया पुल पर पेवर ब्लॉक बिछाने का काम 13 अगस्त की रात 12 बजे से शुरू हो गया है, जो जलजमाव को कम करने और सड़क को टिकाऊ बनाने में मदद कर सकता है। हालांकि, अगर नालियों की सफाई और सही ढलान सुनिश्चित नहीं किया गया, तो पेवर ब्लॉक भी लंबे समय तक प्रभावी नहीं रह सकते, जैसा कि हिमाचल प्रदेश जैसे क्षेत्रों में देखा गया है।
- नालियों की नियमित सफाई और जल निकासी व्यवस्था को बेहतर करें।
- पेवर ब्लॉक की गुणवत्ता और डिज़ाइन पर ध्यान दें ताकि बारिश में खराब न हों।
- स्थानीय लोगों और कारोबारियों की शिकायतों को सुनकर त्वरित कार्रवाई करें।अतिक्रमण हटाने के लिए सख्त कदम उठाएँ।
- सड़क और नालों की स्थिति की नियमित निगरानी के लिए एक समिति बनाएँ।
धनबाद का गया पुल अंडरपास वर्तमान में जर्जर सड़क, जलजमाव, और ट्रैफिक जाम की गंभीर समस्याओं से जूझ रहा है। प्रशासन ने हाल के दिनों में कुछ कदम उठाए हैं, जैसे पेवर ब्लॉक बिछाना और नालों की सफाई, लेकिन ये अस्थायी समाधान हैं। नए अंडरपास का निर्माण ही स्थायी समाधान हो सकता है, जो अभी टेंडर और मंजूरी की प्रक्रिया में है। जनता की नाराज़गी और बार-बार की शिकायतें इस समस्या की गंभीरता को दर्शाती हैं।